“श्री अन्न: मोटा अनाज, सदियों से हमारी भोजन संस्कृति का हिस्सा“
श्री अन्न, यानी मोटा अनाज, सदियों से भारतीय आहार का अभिन्न हिस्सा रहा है। यह लगभग 8000 साल पहले से उगाया जा रहा है और विशेष रूप से उन क्षेत्रों के लिए वरदान साबित हुआ है जहां बारिश कम होती है और जलवायु कठोर होती है। मोटा अनाज, जैसे बाजरा, ज्वार, रागी और कोदो, कम पानी में उगने वाले अत्यंत पोषक और स्वास्थ्यवर्धक खाद्य पदार्थ हैं।
आजकल, जब जलवायु परिवर्तन और पानी की कमी एक गंभीर समस्या बन चुकी है, मोटा अनाज फिर से चर्चा में आ गया है। यह न केवल पर्यावरण के लिए उपयुक्त है, बल्कि हमारी सेहत के लिए भी फायदेमंद है, क्योंकि इनमें उच्च फाइबर, प्रोटीन, और विटामिन्स की प्रचुर मात्रा होती है।