“ सहकारिता क्षेत्र में विश्व की सबसे बड़ी अनाज भंडारण योजना को केंद्र सरकार की मंजूरी, 73,492 पैक्स को मिली हरी झंडी“
नई दिल्ली, 22 जुलाई: केंद्र सरकार ने सहकारिता क्षेत्र में विश्व की सबसे बड़ी अनाज भंडारण योजना को औपचारिक मंजूरी दे दी है। इसे पायलट प्रोजेक्ट के रूप में 11 राज्यों की 11 प्राथमिक कृषि साख समितियों (PACS) में लागू किया गया है, जहां गोदामों का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। अब इस योजना को चरणबद्ध तरीके से पूरे देश में विस्तार देने की तैयारी है।
योजना के मुख्य बिंदु:
- दिसंबर 2026 तक 500 से अधिक पैक्स में गोदामों का निर्माण पूरा करने का लक्ष्य।
- 31 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से 73,492 पैक्स को योजना के तहत मंजूरी।
- 59,920 पैक्स को ईआरपी सॉफ्टवेयर पर लाया गया, जिससे संचालन में पारदर्शिता और दक्षता सुनिश्चित की जा सकेगी।
- कर्नाटक राज्य से 5,628 पैक्स को मंजूरी मिली है।
वित्तीय और तकनीकी सहायता:
इस योजना में कृषि अवसंरचना कोष (AIF), कृषि विपणन अवसंरचना योजना (AMI), प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य प्रसंस्करण उद्यम योजना (PMFME) और कृषि मशीनीकरण योजना (SMAM) जैसी केंद्र सरकार की अन्य योजनाओं का अभिसरण किया गया है। इसके माध्यम से PACS स्तर पर गोदामों, कस्टम हायरिंग केंद्रों, प्रसंस्करण इकाइयों और उचित मूल्य की दुकानों का निर्माण किया जा रहा है।
नई बहुउद्देशीय सहकारी समितियां:
भारत सरकार ने सभी पंचायतों और गांवों को कवर करने के उद्देश्य से नई बहुउद्देशीय पैक्स/डेयरी/मत्स्य पालन सहकारी समितियों की स्थापना की योजना भी शुरू की है। इस योजना को नाबार्ड, एनडीडीबी, एनएफडीबी और राज्यों का समर्थन प्राप्त है।
अब तक की प्रगति:
- 15 फरवरी 2023 से 30 जून 2025 तक 22,933 नई सहकारी समितियां पंजीकृत की गईं, जिनमें 5,937 मल्टीपर्पज पैक्स (M-PACS) शामिल हैं।
- 2,925.39 करोड़ रुपये की लागत से कार्यात्मक PACS के कम्प्यूटरीकरण की परियोजना को मंजूरी दी गई है, जिससे सभी PACS को एक राष्ट्रीय ईआरपी प्लेटफॉर्म से जोड़ा जा सके।
